कक्षा-10 विज्ञान Chapter-12 प्रमुख प्राकृतिक संसाधन
प्राकृतिक संसाधन का तात्यर्य :- मनुष्य के प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से उपयोग में आने वाली हर वस्तु संसाधन कहलाती है।
प्राकृतिक संसाधनों के प्रकार :- प्राकृतिक संसाधनों को तीन भागों में बांटा गया है।
- विकास एवं प्रयोग के आधार पर
- उदगम या उत्पत्ति के आधार पर
- भंडारण या वितरन के आधार पर विकास एंव प्रयोग के आधार पर
प्राकृतिक संसाधन विकास एवं प्रयोग के आधार पर प्राकृतिक
संसाधन निम्नलिखित दो प्रकार के होते है।
(1) वास्तविक संसाधन:- वे संसाधन या वस्तुएं जिनका प्रयोग हम हर समय कर रहे हैं। जिनकी मात्रा या संरचना हमें ज्ञान है। वास्तविक संसाधन कहलाते हैं। जैसे-: ... महाराष्ट्र में काली मिट्टी की माना, जर्मनी में कोयले की मात्रा, पश्चिम एशिया में खनिज तेल की मात्रा
(2) संभाव्य संसाधन:- वे संसाधन या वस्तुष्टं जिनकी निश्चित माना था संरख्या का हम पत्ता नहीं लगा सकते हैं।
संभाव्य संसाधन:- वर्तमान में हम इनका प्रयोग नही कर रहे हैं। परन्तु आगे आने वाले समय में कर सकते है।, संभाव्य संसाधन कहलाती है। जैसे: लाख में पाया गया यूरेनियम भी एक संभाव्य संसाधन है।
जैव संसाधन:- सजीव या जीवित वस्तुएं जैव संसाधन कहलाती है। जैसे-: जीव-जन्तु पेड़-पौधे, मनुष्य आदि,
अजैव संसाधन:- जो वस्नु जीवित नहीं है, अजैव संसाधन कहलाती है।
जैसे- वायु , मृदा, प्रकाश
वितरण के आधार पर संसाधन:-
सर्वव्यापक:- जो वस्तुएँ सभी जगह पायी जाती है। तथा आसानी से उपलब्ध हो जाती है। सर्वव्यापक संसाधन कहलाती है। उदाहरण - वायु आदि
स्थानिक:- जो वस्तुएँ कुछ गिने- धुने स्थानों पर ही पायी जाती है। स्थानिक संसाधन कहलाते हैं। उदाहरसा- ताँबा, लौह अयस्क आदि
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